हमारी बुद्धियां विविध प्रकार की हैं। मनुष्य के कर्म भी विविध प्रकार के हैं। हमारी बुद्धियां विविध प्रकार की हैं। मनुष्य के कर्म भी विविध प्रकार के हैं।
उत्साही और आशावादी का ही साथ करो। उनसे दूर रहो जो भविष्य को निराशाजनक बताते हैं। उत्साही और आशावादी का ही साथ करो। उनसे दूर रहो जो भविष्य को निराशाजनक बताते हैं।
तृष्णा नष्ट होने के साथ ही विपत्तियाँ भी नष्ट होती हैं। जिसे जितनी अधिक तृष्णा है, वह उतना ही बड़ा आपत्तिग्रस्त है। तृष्णा नष्ट होने के साथ ही विपत्तियाँ भी नष्ट होती हैं। जिसे जितनी अधिक तृष्णा है, वह उतना ही बड़ा आपत्तिग्रस्त है।
हे शक्तिशाली मार्गदर्शक तेरी रक्षण शक्ति और बहु-विधि ज्ञान-शक्ति से तू हमें उत्तम शिक्षा दे। हमें अवगुण, क्षुधा और व्याधि से मुक्त कर। हे शक्तिशाली मार्गदर्शक तेरी रक्षण शक्ति और बहु-विधि ज्ञान-शक्ति से तू हमें उत्तम शिक्षा दे। हमें अवगुण, क्षुधा और व्याधि से मुक्त कर।
जो अधर्माचरण से युक्त हिंसक मनुष्य है, उसको धन, राज्यश्री और उत्तम सामर्थ्य प्राप्त नहीं होता. इसलिए सबको न्याय के आचरण से ही धन खोजना चाहिए। जो अधर्माचरण से युक्त हिंसक मनुष्य है, उसको धन, राज्यश्री और उत्तम सामर्थ्य प्राप्त नहीं होता. इसलिए सबको न्याय के आचरण से ही धन खोजना चाहिए।